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एसएसपी ने 4 गुड सेमेरिटंस को सम्मानित किया

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घायलों की जान बचाने युवाओं को सामने आने की अपील

रायपुर । राष्ट्रीय-राज्यीय मार्गों पर सड़क दुर्घटनाओं में घायलों की मदद कर जान बचाने वाले चार गुड सेमेरिटंस (नेक इंसानों) को एसएसपी संतोष कुमार सिंह ने प्रशस्ति पत्र और शिल्ड प्रदान कर सम्मानित किया। यह सम्मान उन नागरिकों को दिया गया है जिन्होंने दुर्घटनाओं में घायलों को त्वरित चिकित्सा सहायता दिलाकर उनकी जान बचाई।

एसएसपी ने कहा, “सड़क दुर्घटना में मदद करने वाले इन नेक इंसानों का सम्मान करना हमारे लिए गर्व की बात है। हम उम्मीद करते हैं कि ये भविष्य में भी घायलों की सहायता करते रहेंगे।” उन्होंने यह भी बताया कि इन गुड सेमेरिटंस का प्रचार-प्रसार करने के लिए शहर के प्रमुख स्थानों जैसे रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड और मरीन ड्राइव में होर्डिंग्स भी लगाए गए हैं।

सुप्रीम कोर्ट का निर्देश
उल्लेखनीय है कि सुप्रीम कोर्ट ने सड़क दुर्घटनाओं में घायलों की त्वरित मदद करने वाले लोगों को प्रोत्साहित करने के निर्देश दिए हैं। इन नेक इंसानों को ‘गुड सेमेरिटंस’ की संज्ञा दी गई है, जिनका अधिक से अधिक प्रचार और सम्मान किया जाना चाहिए। इसी के तहत रायपुर पुलिस द्वारा हर महीने ऐसे लोगों को सम्मानित किया जाता है।

गुड सेमेरिटंस की सूची
एसएसपी रायपुर द्वारा सम्मानित किए गए गुड सेमेरिटंस में शामिल हैं:

किशन वर्मा (24 वर्ष, अभनपुर) – 25 जुलाई 2024 को अभनपुर अंडर ब्रिज के पास सड़क दुर्घटना में घायल दो लोगों को अपने वाहन से अस्पताल पहुंचाकर जान बचाई।

संजय कुमार साहू (25 वर्ष, अभनपुर) – 25 जुलाई 2024 को इसी स्थान पर हुए हादसे में घायल लोगों को अस्पताल पहुंचाने में मदद की।

निक्की कोशले (24 वर्ष, ग्राम बिरकोनी, महासमुंद) – 23 अगस्त 2024 को मंदिर हसौद के पास हुई दुर्घटना में घायल व्यक्ति को सीएचसी ले जाकर जान बचाई।

गौतम साहू (34 वर्ष, मेन रोड उरला) – 31 जुलाई 2024 को बीरगांव के पास दुर्घटनाग्रस्त दो मोटरसाइकिल चालकों की तत्काल मदद कर उनकी जान बचाई।

सड़क दुर्घटनाओं में समय की अहमियत

एसएसपी संतोष कुमार सिंह ने बताया कि सड़क दुर्घटनाओं के बाद का पहला 30 मिनट (गोल्डन आवर) घायल व्यक्ति की जान बचाने के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण होता है। अगर इस दौरान उन्हें अस्पताल पहुंचाया जाए तो 90% मामलों में उनकी जान बचाई जा सकती है। कई लोग कानूनी झंझट से बचने के लिए घायलों की मदद नहीं करते, जिससे उनकी मृत्यु हो जाती है। ऐसे में गुड सेमेरिटंस को प्रोत्साहित करने और उनकी भूमिका को और सशक्त करने की जरूरत है।

इस अवसर पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक यातायात ओम प्रकाश शर्मा और उप पुलिस अधीक्षक यातायात सुशांतो बनर्जी भी उपस्थित थे।

 

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